Sunday, September 17, 2017

संस्मरण

प्रातःकाल की पूजा के  समय दीप -वर्तिका दक्षिण  की ओर हो गई । मेरा मन अशांत  सा हो उठा । अनायास  मेरे मन मे मेरे  पिता श्री  के प्रति  अनिष्ट की  कल्पना  जाग उठी । आज  एकादशी  की पूजा के अन्त मे अनन्त की आरती के  समय  मोबाइल फोन  की घंटी  का बजना  मेरे  मन और  भी  भयभीत  कर दिया । मुझे  फोन  तक पहुँचने के  पहले ही मेरे बड़े  पुत्र  ने  मेरे  पिता  श्री के चिर निद्रा  मे विलीन  होने  की दुखद  घटना  का समाचार  दिया । मेरे  व्यग्र  मन  ने  मुझे  ढाढ़स  बॅधाया ।  उनके अंतिम  समय  मे पास  मे न होने की ग्लानि  मुझे  जीवन  भर रहेगी । उसी दिन  सायंकाल  काशी की पवित्र  नगरी  मे गंगा जी के पावन तट पर मेरे अग्रज ने  मुखाग्नि दी । इस प्रकार उनका पार्थिव शरीर  पंचतत्व  मे विलीन हो गया  ।
    
     हरि ओम तत् सत् ।

Tuesday, August 15, 2017

अपने क्षेत्र में बार-बार विजली की भयंकर समस्या उत्पन्न होने की शिकायत करते हुए विद्युत बोर्ड के अधिकारी को पत्र ।

सेवा में
विद्युत बोर्ड  अधिकारी
के ख ग नगर

विषय - विजली आपूर्ति  की समस्या निवारण हेतु

महोदय,
निवेदन है कि मैं क ख ग  नगर  का  निवासी हूँ  । हमारे  नगर में  आये दिन विद्युत आपूर्ति  बाधित  होती रहती है । कोई भी  दिन  ऐसा नहीं  होता  कि विजली  चार  से पाँच  बार  न जाती हो । कभी कभी  तो  कई  घंटे  इंतजार करना  पडता है । भीषण गर्मी  से  बच्चों  एवं  बूढों का बुरा हाल है । विद्युत  बोर्ड  में  फोन  करने पर  कोई  सही जबाब नहीं  मिलता  ।
         अतः  महोदय  से निवेदन है कि हमारे क्षेत्र में विद्युत आपूर्ति की  समस्या के कारण  का पता कर उचित कार्यवाही  करने का  कष्ट करें । हमारी  समस्याओं को  ध्यान में रखते हुए  उन्हें  दूर करने का प्रयास  करें,  जिससे  हमारे  क्षेत्र में निर्बाध रूप से  विद्युत आपूर्ति उपलब्ध  हो सके  ।
सधन्यवाद
भवदीय
अ ब स
दिनांक  - 14 अगस्त ,2017

अधिकार और कर्तव्य

अधिकार और कर्तव्य दोनों  एक ही  सिक्के के दो पहलू हैं । अधिकार  लोगों के  जीवन की  सुरक्षा  निश्चित  करता है । किसी भी  देश की  सरकार  या वहाँ के लोगों को  अपने देश के  नागरिकों के  अधिकारों की रक्षा  करने के लिए सदैव तत्पर  रहना चाहिए । विश्व में  मानवाधिकार आयोग  एक  संस्था है जो लोगों के  अधिकारों की  सुरक्षा  सुनिश्चित  करती है । जिसके द्वारा विश्व  में  कहीं भी लोगों के साथ  हो रहे अन्याय व अत्याचार के खिलाफ  आवाज उठाई जाती है ।हम अपने  अधिकारों  को पाने के हकदार हैं  ,परन्तु  अपने  कर्तव्यों का पालन करना  भी  हमें  अपना  धर्म  समझना  चाहिए । हमें  सदैव  यह ध्यान रखना चाहिए कि हम अपने अधिकार के लिए किसी  दूसरे के अधिकार में  बाधा  न डालें । अगर  ऐसा होता है  तो  ही सब के अधिकारों की रक्षा  हो सकेगी । सभी लोग अपने  अधिकार प्राप्त  करना चाहते हैं  और  कर्तव्य  का पालन करने  से दूर  भागेंगे  तो यह  सर्वदा  असंभव होगा ।अतः  अधिकार के साथ कर्तव्य  पालन  अत्यंत आवश्यक  व महत्वपूर्ण है  ।

Tuesday, July 18, 2017

अच्छा स्वास्थ्य महावरदान

एक तंदुरूस्ती  ईश्वर की  हजार  नियामत  के बराबर  होती है  । अच्छा  स्वास्थ्य  ही जीवन  के  सारे  सुखों  का आधार है ।स्वास्थ्य  को ही  सबसे  बडा  धन माना गया है । बीमार धनी होने की  अपेक्षा  स्वस्थ  गरीब होना  अधिक  अच्छा है । स्वस्थ  जीवन के लिए  संसंतुलित आहार  लेना  अनिवार्य है ।संतुलित आहार  अर्थात  ऐसा  भोजन  जिसमें  जीवन के लिए उपयोगी  हर प्रकार के  पोषक तत्व  मौजूद हैं। इसके लिए  घर  का  बना हुआ,  पोषक तत्वों से भरपूर  भोजन  करना चाहिए ।कुछ लोग  स्वाद  को महत्व  देते हैं और  बाहर के  बने हुए मसाले  व जायकेदार  भोजन पसंद करते हैं ।स्वस्थ  शरीर में स्वस्थ  मष्तिष्क  निवास  करता है ।स्वस्थ  मस्तिष्क में साकारात्मक  सोच  पैदा  होती है । स्वस्थ  रहकर ही  मनुष्य  ईश्वर  प्रदत्त  उपहारों का  लाभ उठा सकता है । अतः  हमें  स्वास्थ्य  रूपी  धन की  हर कीमत पर  रक्षा  करनी चाहिए ।स्वस्थ  शरीर,  उत्तम  विचार  के द्वारा मनुष्य  महान  बन जाता है । उसके  मन  मष्तिष्क में  प्रसन्नता  व उमंग छायी  रहती है  ।

देश की अखंडता और एकता

भारत  एक सारसारभौम  प्रजातंत्र  है। यहाँ  विभिन्न संस्कृति व धर्मों के लोग  मिल -जलकर रहते हैं । इसलिए  यह देश  विश्व में सबसे  अलग  पहचान  रखता है । अलग - अलग संस्कृति और  भाषाएँ  होते हुए भी सभी लोग  एक  सूत्र में बंधे हुए हैं तथा  अपने  देश की  अखंडता और एकता  को अक्षुण्ण  रखने के लिए सदैव तत्पर रहते हैं ।यहाँ पर अनेक धर्मों  को मानने वाले लोग  रहते हैं जिनके  बीच  कभी - कभी मतभेद  उत्पन्न होता  रहता है । भिन्न भिन्न  विचारों  और  विभिन्न  आस्थाओं के कारण  आपसी प्रेम  और  एकता  में  बाधाएँ  भी  आती हैं परंतु  बौद्धिक, बैचारिक व भावनात्मक  एकता से  ओतप्रोत  कुछ  समझदार और  संवेदनशील लोग  सभी  मतभेद  दूर  कर, सबको मिलकर रहने की  प्रेरणा  देते हैं जिसकी  पुष्टि  देश  का संविधान  भी  करता है ।

Monday, May 1, 2017

खेल सामग्री मँगवाने हेतु प्रधानाचार्य को पत्र ।

परीक्षा भवन
क ख ग नगर ।

दिनांक 2 अगस्त 2016

सेवा मे ,
प्रधानाचार्य महोदय ,
च छ ज विद्यालय
ट ठ ड नगर ।

विषय - खेल सामग्री मँगवाने हेतु पत्र ।
महोदय ,
सविनय निवेदन है कि मै आप के विद्यालय की 10वीं  ब का छात्र हूँ । साथ ही विद्यालय का खेल सचिव भी हूँ । हमारे विद्यालय में खेल सामग्रियों का नितांत अभाव है जिससे विद्यार्थियों को अभ्यास मे मुश्किल का सामना करना पडता है ।अगले माह से अन्तर्विद्यालय प्रतियोगिताएँ भी प्रारंभ होने वाली हैं ।
अतः महोदय से विनम्र निवेदन है कि विद्यालय मे आवश्यक खेल सामग्री अतिशीघ्र मँगवाने का कष्ट करें। इससे न केवल हमारा विद्यालय जीत हासिल करेगा अपितु विद्यालय का नाम भी रोशन होगा ।

सधन्यवाद ।

भववदीय
क्ष त्र  ज्ञ ।

Thursday, March 2, 2017

समय का सदुपयोग

समय बहुत मूल्यवान है । जो समय एक बार बीत जाता है, दुबारा वापस नही आता । जिसने समय का महत्त्व समझ लिया , सफलता उसका कदम चूमती है । दुनिया मे जितने भी महान व्यक्ति हुए है उन्होने समय की पाबंदी को समझा है । समय पर कार्य पूर्ण करने वाले लोग जीवन मे सुख भोगते है । जो समय नष्ट करता है , समय उसे नष्ट कर देता है । एक कहावत है,- ' समय तथा सागर की लहरें करती नही प्रतिक्षा ' अर्थात समय किसी की प्रतीक्षा नहीं करता । टिक - टिक करती घडी तथा बहती हुई नदी हमें यह शिक्षा देती है कि हमें समय के साथ आगे  बढना चाहिए । समय का सदुपयोग ही सफलता की सच्ची कुंजी है ।

Saturday, February 11, 2017

सुमूल डेरी की यात्रा ( रिपोर्ट )

३१जनवरी,सूरत । आज शहर की लोकप्रिय पाठशाला  ' दिल्ली पब्लिक स्कूल ' की नौवी कक्षा के छात्र - छात्राऍ सुमूल डेरी के दुग्ध उत्पादन केन्द्र का निरिक्षण करने गए ।  वे बस द्वारा सुबह ११ बजे सुमूल डेरी पहुँच गए । मनोज पटेल नाम के कर्मचारी ने बच्चों को डेरी मे घुमाया ।  वहाँ  उन्होंने दूध के पास्च्युराइजेशन से लेकर दूध के विभिन्न उत्पादों तथा उनके बनाने के तौर - तरीकों के बारे मे जानकारी प्राप्त किए । दूध से मक्खन निकालने के पश्चात उसे ७० डिग्री सेल्सियस तक गरम किया जा है ।  तत्तपश्चात इसे शून्य डीग्र या उससे भी नीचे तापमान पर ठंडा किया जाता है इसके पश्चात उसे ५०० मिली लीटर या १ लीटर के पाउच मे  बेचा  जाता है । बच्चों ने यह भी जानकारी ली कि पनीर तथा बटर कैसे तैयार किया जाता है ।
       अंत मे बच्चे डेरी के प्रबंधक से मिले। प्रबंधक ने सभी बच्चों को सुमूल का चाॅकलेट दिया। शाम ६ बजे बच्चे बस मे बैठ वापस रवाना हो गए ।